ख़ून.
ख़ून
.
आज
.
रगों के अंदर नहीं
.
रगों से बाहर निकलकर
.
बहने के लिए
.
विवश है।
.
यही उसकी
.
नियति बन चुकी है
.
कहीं अयोध्या,
.
कहीं बम्बई,
.
कहीं दिल्ली,
.
तो कहीं भोपाल में
.
अपना परिचय
.
हिन्दू-मुस्िलम से परे
.
सिर्फ़
.
ख़ून होने का
.
दे रहा है।
.
ख़ून
.
बहन की, मॉं की या पिता की
.
ऑंखों से,
.
जिनके लाड़लों को
.
सरेआम
.
क़त्ल कर दिया गया
.
समाज के ठेकेदारों ने
.
लेकिन
.
समाचारों में
.
वह सिर्फ़
.
सरकारी ज़बान में
.
हादसे का शिकार होता है
.
ढुलक पड़ता है
.
अपने अस्तित्व को
.
अपने बहने की नियति में
.
समेटे हुये
ख़ून
.
आज
.
रगों के अंदर नहीं
.
रगों से बाहर निकलकर
.
बहने के लिए
.
विवश है।
.
यही उसकी
.
नियति बन चुकी है
.
कहीं अयोध्या,
.
कहीं बम्बई,
.
कहीं दिल्ली,
.
तो कहीं भोपाल में
.
अपना परिचय
.
हिन्दू-मुस्िलम से परे
.
सिर्फ़
.
ख़ून होने का
.
दे रहा है।
.
ख़ून
.
बहन की, मॉं की या पिता की
.
ऑंखों से,
.
जिनके लाड़लों को
.
सरेआम
.
क़त्ल कर दिया गया
.
समाज के ठेकेदारों ने
.
लेकिन
.
समाचारों में
.
वह सिर्फ़
.
सरकारी ज़बान में
.
हादसे का शिकार होता है
.
ढुलक पड़ता है
.
अपने अस्तित्व को
.
अपने बहने की नियति में
.
समेटे हुये
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